प्रतिवर्ष 26 जनवरी के दिन राजपथ पर राष्ट्रपति द्वारा तिरंगा फैराकर गणतंत्र दिवस की शुरुआत की जाती है। इस मौके पर हर साल विदेशी मेहमान भी उपस्थित होकर इस राष्ट्रीय पर्व के जश्न में शामिल होते हैं। देश के लिए यादगार तिथि 26 जनवरी के मौके पर प्रातः काल 4:00 बजे से ही लोगों की भीड़ सूर्योदय होने के पश्चात शुरू होने वाले कार्यक्रमों को देखने के लिए उमड़ पड़ती है। साथ ही देश के विभिन्न राज्यों से लोग घर बैठे टेलीविजन के सीधे प्रसारण के जरिए 26 जनवरी की परेड एवं पराक्रम को तथा विभिन्न राज्यों की संस्कृति वेशभूषा से झांकियों के माध्यम से परिचित होते हैं। आज हम आपके साथ इस लेख में गणतंत्र दिवस पर 10 लाइनें (10 Lines on Republic Day in Hindi 2021) तथा इस दिवस पर आधारित कुछ महत्वपूर्ण जानकारियां साझा करने जा रहे हैं। जो आशा है आपको जरूर पसंद आएंगी।
10 Lines on Republic Day in Hindi 2021
⇒ गणतंत्र दिवस (26 जनवरी 2021) पर भाषण ⇐
Best Lines on Republic Day 2021 in Hindi
- देश भक्ति की भावना से अभीप्रेरित होकर देश में प्रतिवर्ष 26 जनवरी का दिन गणतंत्र दिवस के तौर पर मनाया जाता है।
- 26 जनवरी के यादगार दिन के मौके पर ही भारत को गणतंत्र राष्ट्र घोषित किया गया।
- इस दिन राष्ट्रपति द्वारा देश में तिरंगा फहराया जाता है, तिरंगा देश की आन बान शान का प्रतीक है।
- देश को मिली आजादी के उपरांत अंग्रेजों द्वारा स्थापित किए भारतीय शाशन अधिनियम को हटाकर भारतीय संविधान की स्थापना की गई।
- इस दिन के मौके पर दिल्ली के राजपथ पर अनेक कार्यक्रम होते हैं। सेना की परेड, हवा में विमानों के करतब और झांकियों को देखने के लिए बड़ी संख्या में लोग उपस्थित सोते हैं।
- देश के संविधान को विश्व का सर्वोच्च लिखित संविधान होने का सम्मान मिला। संविधान को पूरी तरह तैयार होने में दो वर्ष 11 माह 18 दिन का समय लगा।
- संविधान को बनाने, इसकी रूपरेखा तैयार करने का श्रेय डॉक्टर भीमराव अंबेडकर को जाता है उन्हें संविधान का जनक भी का जाता है।
- नागरिकों के सभी सामाजिक, राजनीतिक अधिकारों का वर्णन संविधान में किया गया है।
- देश के संविधान में लिखित नियमों कानूनों का पालन करना देश के नागरिकों के लिए अनिवार्य है, इनका पालन न करने पर सजा का भी प्रावधान है।
- देश में होने वाले तीन राष्ट्रीय अवकाशों में से एक है गणतंत्र दिवस। इसके अलावा गांधी जयंती और स्वतंत्रता दिवस के मौके पर देश में राष्ट्रीय अवकाश होता है।
इस साल देश में कौन सा गणतंत्र दिवस मनाया जा रहा है?
वर्ष 2021में देश दिल्ली के राजपथ पर 72 वां गणतंत्र दिवस मनाने जा रहा है।
गणतंत्र दिवस 2021 का इतिहास
⇒ 26 जनवरी (गणतंत्र दिवस 2021) पर भाषण ⇐
गणतंत्र दिवस मनाने की परंपरा 26 जनवरी 1950 को देश के संविधान के लागू होने के साथ शुरू हुई। तभी से हर साल देशभक्ति की भावना से अभीप्रेरित होकर पूरा देश इस राष्ट्रीय पर्व को मनाता है। लेकिन आपकी जानकारी के लिए बता दें, वर्ष 1929 में कांग्रेस के अधिवेशन में एक प्रस्ताव पारित किया गया जिसके तहत ब्रिटिश सरकार द्वारा भारत को dominion (dominion का मतलब था एक ऐसा राष्ट्र होना जो ब्रिटिश का एक भाग होता परंतु सरकार अपनी होती।) का दर्जा नहीं प्राप्त होता तो ऐसी स्थिति में भारत को पूर्ण रूप से एक आजाद राष्ट्र घोषित कर दिया जाएगा और जैसा कि यह अनुमान था वैसा ही हुआ।
ब्रिटिश सरकार द्वारा इस तरफ कोई ध्यान नहीं दिया गया। आखिरकार भारत ने पूर्ण स्वतंत्रता का संकल्प लेते हुए भारत को एक आजाद राष्ट्र मान लिया। और तभी से लेकर देश को जब तक आधिकारिक तौर पर स्वतंत्र घोषित नहीं कर दिया गया (वर्ष 1930 से लेकर 1947) तब तक 26 जनवरी के दिन ही गणतंत्र दवस मनाया गया था।
देश की आजादी के कुछ समय पूर्व ही 9 दिसंबर वर्ष 1946 से देश के संविधान बनाने की प्रक्रिया के लिए एक संविधान सभा का निर्माण किया गया। जिस सभा के अध्यक्ष डॉ राजेंद्र प्रसाद थे उनके साथ इस सभा में 298 सदस्य थे। जैसे ही संविधान सभा की पहली बैठक हुई उसी के कुछ समय बाद देश का विभाजन हो गया और इस तरह संविधान सभा दो हिस्सों में बंट गई। पहली भारत की संविधान सभा और दूसरी पाकिस्तान की विधानसभा। लगभग 2 वर्ष 11 माह 18 दिन की कड़ी मेहनत से देश का संविधान 26 नवम्बर वर्ष 1949 को तैयार हो गया और दुनिया के सबसे बड़े संविधान को अगले वर्ष 26 जनवरी 1950 में लागू कर दिया गया।
गणतंत्र दिवस 2021 मुख्य अतिथि
इस साल देश के 72वें गणतंत्र दिवस में मुख्य अतिथि के तौर पर ब्रिटिश प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन उपस्थित होने वाले थे। लेकिन काल बनकर उपजी महामारी कोरोना से अभी भी हालात सामान्य नहीं हुए हैं। जिसे देखते हुए ब्रिटिश प्रधानमंत्री ने क्षमा मांगते हुए आखिरकार यह कह दिया कि इस साल ब्रिटेन में बढ़ती बीमारी के प्रकोप के कारण वे इस साल भारत में गणतंत्र दिवस के मुख्य अतिथि के तौर पर अपनी भूमिका नहीं निभा पाएंगे। ब्रिटिश प्रधानमंत्री के मना करने के बाद से भारत द्वारा किसी भी देश के राष्ट्राध्यक्ष को गणतंत्र 2021 पर आने का निमंत्रण नहीं दिया है।
बता दें बीते नवंबर में प्रधानमंत्री मोदी और ब्रिटिश प्रधानमंत्री की फोन पर हुई बातचीत के अनुसार PM मोदी द्वारा ब्रिटिश प्रधानमंत्री को गणतंत्र दिवस का साक्षी होने के दिए गए प्रस्ताव को खुशी-खुशी स्वीकार कर लिया था। परंतु बीमारी पूरी तरह काबू में ना होने की वजह से अब उन्हें आखिरकार क्षमा मांगते हुए अपनी बात वापस लेनी पड़ी। अनेक समस्याओं और विपरीत परिस्थितियों को देखते हुए भारत इस वर्ष 2021 में भी हर साल की तरह गणतंत्र दिवस मनाने की कोशिश में है।
अतः अब आपके मन में प्रश्न होगा कि क्या बिना किसी मुख्य अतिथि के 2021 में गणतंत्र दिवस मनाया जाएगा? तो जवाब है। इस साल कोई भी विदेशी शासन अध्यक्ष या राष्ट्रीय अध्यक्ष इस राष्ट्रीय पर्व में शामिल नहीं हो पाएंगे। यह पहला मौका है जब 55 सालों बाद यानी कि वर्ष 1966 के बाद से देश में कोई भी विदेशी मेहमान गणतंत्र दिवस के मौके पर राजपथ पर उपस्थित नहीं होगा। इस साल 2021 में कोरोना का प्रभाव राजपथ पर होने वाले कार्यक्रमों में भी देखने को मिलेगा। बता दे परेड की टुकड़ियों का आकार घटाकर परेड की टुकड़ी कम कर दी गई है, हर साल की तरह परेड में भीड़ भी नहीं देखने को मिलेगी।
26 January Facts in Hindi 2021
अब मैं आपको गणतंत्र दिवस से जुड़े उपयोगी तथ्य के विषय में बताने जा रहा हूँ।
प्रतिवर्ष दिल्ली के राजपथ से लाल किले तक भारत के शौर्य और पराक्रम को देखने के लिए लोगों की भारी भीड़ लगी होती है। लेकिन क्या आप जानते है भारत देश की आजादी के शुरुआती वर्षों में यह परेड अलग-अलग स्थानों में आयोजित की गई थी। इस राष्ट्रीय पर्व से जुड़े कुछ रोचक तथ्यों पर नजर डालते हैं।
Republic Day 2021 Facts in Hindi
👉 गणतंत्र दिवस के आयोजन का जिम्मा देश के रक्षा मंत्रालय को सौंपा जाता है। परेड के संचालन हेतु इस जिम्मेदारी को निभाने के लिए रक्षा मंत्रालय के अलावा 70 अन्य विभाग रक्षा मंत्रालय की मदद करते हैं।
👉 26 जनवरी के मौके पर देश के विभिन्न राज्यों से सुबह सुबह कड़ाके की ठंड में गणतंत्र दिवस की भव्य परेड और सांस्कृतिक कार्यक्रमों को देखने के लिए लाखों की संख्या में लोग उपस्थित रहते हैं।
👉 वर्ष 1950 से लेकर 1954 तक गणतंत्र दिवस की परेड अलग-अलग स्थानों पर आयोजित की गई। इन स्थानों में इरविन stadium, Kingsway, लाल किला और रामलीला मैदान के नाम शामिल हैं।
👉 राजपथ से परेड कि शुरुआत वर्ष 1955 से हुई और तभी से इस इस स्थान को गणतंत्र दिवस का समारोह मनाने के लिए स्थाई घोषित कर दिया।
👉 सरकार एवं देश के प्रमुख नागरिक राष्ट्रपति द्वारा गणतंत्र दिवस की शुरुआत की जाती है। एक लंबी सी कार से उतर कर राष्ट्रपति का आगमन होता है। उनके साथ घुड़सवार, अंगरक्षक भी होते हैं। राष्ट्रपति के सम्मान में जनता की तालियों की गूंज सुनाई देती है।
👉 गणतंत्र दिवस की परेड का आगाज लगभग 9:00 बजे होता है। लेकिन परेड में हिस्सा लेने वाले सैनिक, NCC, जैसे विशेष दल सूर्योदय से वही राजपथ पर उपस्थित हो जाते हैं।
👉 इस भव्य परेड में सुरक्षा की दृष्टि से चार स्तरों तक नौजवानों की अच्छे से चेकिंग की जाती अही। इस जांच को करने का मुख्य कारण इस बात की पुष्टि करना होता है कि कहीं कोई जिंदा कारतूस किसी सैनिक के हाथों में तो नहीं रह गया है।
👉 दिवस के दौरान राष्ट्रगान के समय इक्कीस तोपों की सलामी देने की परंपरा है। तोपों की सलामी राष्ट्रगान की शुरुआत से लेकर अंत तक होती है।
👉 साल 2015 में पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा को गणतंत्र दिवस के मौके पर मुख्य अतिथि के रूप में आमंत्रित किया गया था। इतिहास में पहली बार हुआ जब अमेरिका के किसी राष्ट्रपति ने सार्वजनिक रूप से किसी राष्ट्रीय पर्व के मौके पर इतना समय भारत में बिताया हो।
👉 गणतंत्र दिवस समारोह पर भारत ही नहीं अपितु पूरे विश्व की नजरें टिकी होती है। तो गणतंत्र दिवस के समारोह में किसी तरह की कमी न रह जाए इसके लिए सरकार भारी खर्चा समारोह के आयोजन में करती है। बता दें वर्ष 2001 के गणतंत्र दिवस में जहां 145 करोड रुपए खर्च किए गए तो वर्ष 2014 में 320 करोड रूपयों का खर्चा आया।
साथियों इस लेख में आपने गणतंत्र दिवस के इतिहास तथा वर्ष 2021 में गणतंत्र दिवस मनाने से जुड़ी कुछ आवश्यक जानकारियां हासिल की होंगी। हमें आशा है 10 Lines on Republic Day in Hindi का यह लेख आपके लिए उपयोगी साबित हुआ होगा तो इस लेख को अधिक से अधिक अपने दोस्तों के साथ शेयर करना ना भूलें।